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आयुष्मान कार्ड बनाने में मदद करेंगी जीविका दीदियां

टना,  जीविका दीदियों की सफलता के बाद उनके कार्यों का दायरा बढ़ता जा रहा है। बिहार में आयुष्मान कार्ड बनाने में भी जीविका दीदियां मदद करेंगी। साथ ही आपदा की घड़ी में भी लोगों की मदद करेंगी।स्वास्थ्य विभाग इनकी मदद से विशेष अभियान चलाकर ज्यादा से ज्यादा आयुष्मान कार्ड बनाएगा। जीविका दीदियों के साथ ही राशन दुकानदारों और आशा कार्यकर्ताओं का भी सहयोग लिया जाएगा। राज्य के सभी लाभुकों को आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए विभाग ने ई-केवाईसी विशेष अभियान चलाने का निर्णय लिया है। जल्द ही विभाग की ओर से इस बाबत संबंधित विभाग को पत्र भेजा जाएगा। बिहार में आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत 77 लाख से अधिक कार्ड बन चुके हैं। राज्य में और अधिक पात्र लाभुकों का कार्ड बने, इसके लिए जीविका दीदियों का सहयोग लेने का निर्णय लिया गया है।

जीविका के बड़े कार्य

● समूह बनाकर महिलाओं का आर्थिक सशक्तीकरण

● कोरोना काल में मास्क बनाने का काम

● जिला अस्पताल और मेडिकल कॉलेजों में दीदी की रसोई का संचालन

● शराबबंदी अभियान के लिए टोली बनाकर जागरूकता कार्य

● टीकाकरण में मदद 

● ग्राहक सेवा केंद्र का संचालन

● आहार विविधता अभियान

● नर्सरी और पौधरोपण कार्य

● पशु सखी के रूप में कार्य

● राज्य में 138 रिटेल मार्ट का संचालन

● उत्पादक समूह बनाकर मधुमक्खी पालन

पात्र व्यक्ति बिना कार्ड करा सकते हैं इलाज

सामाजिक-आर्थिक जनगणना 2011 के अनुसार बिहार के एक करोड़ आठ लाख परिवार इस योजना के लिए पात्रता रखते हैं। ऐसे सभी लोग कार्ड नहीं बनने पर भी अस्पताल में इलाज करा सकते हैं। अस्पताल प्रशासन mera. pmjay. gov. in पर सर्च कर देख लेगा कि अमुक व्यक्ति आयुष्मान योजना की पात्रता रखता है या नहीं। इसमें नाम रहने पर तत्काल इलेक्ट्रॉनिक कार्ड बनाकर उसका इलाज शुरू कर दिया जाएगा। विभाग ने निर्देश दे रखा है कि योग्य लाभार्थियों को उपचार करने में किसी भी स्तर पर कोताही नहीं बरती जाए।

पहले भी कर चुकी हैं सहयोग

वर्ष 2019-20 में भी जीविका व आशा का सहयोग लिया गया था। दो महीने तक चले विशेष अभियान के कारण ही उस वर्ष रिकॉर्ड 41 लाख 42 हजार लाभुकों का आयुष्मान कार्ड बना था। इसलिए राज्य के पात्र लाभुकों में बचे 31 लाख परिवारों का आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए एक बार फिर जीविका दीदी व आशा का सहयोग लेने का निर्णय लिया गया है।

खुद भी बनवा सकते हैं कार्ड

विभाग के अनुसार जो लोग इस योजना के लिए पात्रता रखते हैं वे सहज वसुधा केंद्र या आरटीपीएस काउंटर पर जाकर खुद से भी अपना कार्ड बनवा सकते हैं। पहचान पत्र, आधार कार्ड के आधार पर पीएमजेएवाई पोर्टल पर जांच-पड़ताल के बाद अगर कोई योग्य पाया जाता है तो उसका आयुष्मान कार्ड बना दिया जाएगा।

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