नई दिल्ली, निर्भया कांड की बरसी से ठीक पहले द्वारका में छात्रा पर हुए तेजाब हमले ने एकबार फिर महिला सुरक्षा को लेकर सवाल खड़े कर दिए हैं। सुबह स्कूल जाते वक्त सरेराह तेजाब हमले का शिकार हुई नाबालिग छात्रा इतनी डरी-सहमी है कि वह ठीक से बोल भी नहीं पा रही। अचानक हमला होने के बाद छात्रा दर्द से छटपटाती हुई सड़क पर इधर-उधर दौड़ती रही।
पुलिस ने बताया कि सुबह करीब 9 बजे सफदरजंग अस्पताल से यह सूचना मिली कि 17 साल की लड़की पर तेजाब फेंक कर हमला किया गया है। मौके पर पहुंची पुलिस जांच में यह पता चला कि लड़की परिवार के साथ मोहन गार्डन इलाके के रामा पार्क में रहती है। वह रोज की तरह अपनी छोटी बहन के साथ सुबह साढ़े सात बजे स्कूल जाने के लिए निकली थी। दोनों बहनें इलाके में स्थित तिरंगा चौक के पहुंचीं, तभी अचानक सामने से आए बाइक सवार दो लड़कों में से एक ने छात्रा के चेहरे पर तेजाब फेंक दिया। किशोरी दर्द से छटपटा उठी और सड़क पर भागने लगी। उसके चेहरे और बालों से धुंआ निकलने लगा। राहगीर व आसपास मौजूद लोग उसकी मदद को भागे। जबकि बहन भागकर घर पहुंची और उसने परिजनों को घटना के बारे में बताया। आनन-फानन में छात्रा को अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उसका इलाज चल रहा है।
उधर, छात्रा की छोटी बहन की काउंसलिंग कराकर उससे भी पूछताछ करने का प्रयास किया जा रहा है। वह भी डरी हुई है। द्वारका के मोहन गार्डन इलाके में यह वारदात जिस समय हुई, उस वक्त पूरी सड़क पर चहल-पहल थी। आरोपी तेजाब फेंककर बड़े आराम से भाग गए। इस वारदात के बाद से पूरा इलाका सहम गया है।
तो छोटी बहन भी होती शिकार जिस तरह से आरोपी बाइक सवार लड़कों ने वारदात को अंजाम दिया, उसे सीसीटीवी में देखने से यह साफ है कि अगर पीड़ित छात्रा की छोटी बहन चंद कदम पीछे नहीं होती तो वह भी तेजाब का शिकार हो सकती थी। दरअसल, पीड़िता से छोटी बहन चंद कदमों की दूरी पर थी। वह थोड़ा पीछे चल रही थी, इसलिए वह हमले के दौरान बाल-बाल बच गई। घर पहुंच उसने माता-पिता को घटना की जानकारी दी। पुलिस ने बताया कि परिवार का कहना है कि उनकी बेटी ने कभी किसी लड़के द्वारा पीछा करने या परेशान करने की बात नहीं बताई थी। उसके साथ किसने ऐसा किया, परिवार भी इस बात को लेकर परेशान है।
रेकी कर वारदात को दिया गया अंजाम
मामले की जांच में जुटी पुलिस का कहना है कि जिस तरह से वारदात को अंजाम दिया गया है, उससे ऐसा लगता है कि पहले रेकी की गई थी। आरोपियों का अच्छी तरह से पता था कि छात्रा किस समय घर से निकलती है। आरोपी घटनास्थल से कुछ दूर खड़े होकर उनके आने का इंतजार रहे थे। वहीं, पीड़िता का परिवार मोहन गार्डन इलाके के दूसरी मंजिल स्थित किराए के फ्लैट में रहता है। परिवार में माता-पिता के अलावा सात साल का छोटा भाई और 13 साल की बहन है। पीड़िता बारहवीं कक्षा की छात्रा है।
बात करने से इनकार पर पड़ोसी ने की वारदात
नई दिल्ली, स्कूली छात्रा पर तेजाब फेंकने की गुत्थी पुलिस ने सुलझा ली है। इस संबंध में मुख्य आरोपी समेत तीन को गिरफ्तार किया गया है। पूछताछ में खुलासा हुआ कि लड़की के बात करने से इनकार पर पड़ोस में रहने वाले युवक ने ही दोस्तों के साथ मिलकर वारदात को अंजाम दिया। यह जानकारी बुधवार को स्पेशल कर्मिशनर लॉ एंड ऑर्डर सागर प्रीत हुडा ने दी।
उन्होंने बताया कि मुख्य आरोपी सचिन अरोड़ा और दोनों साथियों हर्षित अग्रवाल व वीरेंद्र सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया है। तीनों ही बालिग हैं। मुख्य आरोपी छात्रा के पड़ोस में ही रहता है। आरोपी सचिन की छात्रा से दोस्ती थी, लेकिन तीन महीने से वह उससे बात नहीं कर रही थी। आरोपी लगातार छात्रा पर बात करने का दबाव बना रहा था। छात्रा के इनकार करने पर उसने बदला लेने की साजिश अपने दो दोस्तों के साथ रची।
आरोपियों ने ऑनलाइन मंगाया था तेजाब आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने बताया कि सचिन अरोड़ा ने तेजाब खरीदने के लिए एक शॉपिंग साइट के जरिये ऑनलाइन आर्डर किया था। इसकी पेमेंट भी उसने ऑनलाइन ही की थी। उसे शक था कि तेजाब फेंके जाने पर जब पुलिस जांच करेगी तो आसपास के दुकानों से तेजाब लेने पर कहीं उसकी पोल न खुल जाए। इसलिए उसने वारदात की साजिश रचने के साथ पुलिस से बचने के तरीके पर भी दोस्तों से चर्चा की। इसके बाद यह तय हुआ कि तेजाब ऑनलाइन खरीदा जाएगा। इसके बाद आरोपियों ने ऑनलाइन माध्यम से तेजाब को ऑर्डर किया।
हम पीड़ित परिवार के साथ सचदेवा
नई दिल्ली, मोहन गार्डन इलाके में छात्रा पर तेजाब फेंके जाने को लेकर दिल्ली भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कड़ी निंदा की है। उन्होंने कहा कि इस संकट की घड़ी में दिल्ली भाजपा पीड़ित परिवार के साथ खड़ी है।
दोषियों को कड़ी सजा मिले। इसलिए पूरे मामले को लेकर मैंने दिल्ली पुलिस के संयुक्त आयुक्त सागर प्रीत हुडा से बात कर अभियुक्तों पर कड़ी कार्रवाई के साथ पीड़ित परिवार को सुरक्षा प्रदान करने की मांग की है। वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि एसिड फेंके जाने की यह घटना बेहद दुखद है।
एलजी ने पुलिस से रिपोर्ट मांगी
नई दिल्ली, दिल्ली के उप राज्यपाल वीके सक्सेना ने तेजाब हमले पर पुलिस प्रमुख से विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। उन्होंने पुलिस प्रमुख से कहा कि बिक्री पर प्रतिबंध के बावजूद तेजाब कैसे खरीदा गया इसके बारे में रिपोर्ट में जानकारी दी जाए।
राज निवास के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से किए गए ट्वीट में कहा गया है कि उप राज्यपाल अस्पताल के अधिकारियों के भी संपर्क में हैं और उनसे पीड़ित लड़की का सर्वोत्तम इलाज सुनिश्चित करने को कहा गया है।
पुलिस को चकमा देने की कोशिश
तीसरे साथी वीरेंद्र सिंह का रोल यह था कि वह सचिन के कहने पर पुलिस को चमका देना चाहता था। दरअसल, इन्होंने यह साजिश रची थी कि जब पुलिस मामले की जांच करेगी तो यह पता चलेगा कि सचिन कहीं और था। क्योंकि उसकी स्कूटी व मोबाइल फोन के साथ वीरेंद्र घटनास्थल से कहीं दूर था, ताकि तकनीकी जांच में फोन की लोकेशन अलग जगह की मिले। वहीं, अगर सीसीटीवी फुटेज देखी जाए तो उसकी स्कूटी व कपड़े के आधार पर यह पता चला कि जहां उसके फोन की लोकेशन थी, घटना के वक्त वह वहीं पर था।
साथी के साथ आया
मुख्य आरोपी एक साथी हर्षित अग्रवाल के साथ मिलकर बाइक पर सवार होकर मौके पर पहुंचा था। इनका तीसरा साथी वीरेंद्र सिंह उर्फ सोनू मुख्य आरोपी सचिन की स्कूटी और उसका मोबाइल फोन लेकर उसके कपड़े पहन कर कहीं और चला गया था।